श्री साईं सच्चरित्र संदेश

"तुम्हें अपने शुभ अशुभ कर्मो का फल अवश्य ही भोगना चाहिए I यदि भोग अपूर्ण रह गया तो पुनजन्म धारण करना पड़ेगा, इसलिये मृत्यु से यह श्रेयस्कर है कि कुछ काल तक उन्हें सहन कर पूर्व जन्मों के कर्मों का भोग समाप्त कर सदेव के लिये मुक्त हो जाओ" I


"जो मुझे प्रेम से पुकारता है उसके सन्मुख मै अवलिम्ब प्रगट हो जाता हूँ" |

Sunday, August 21, 2011

Sri Krishna Janmashtami Celebrations at Saisthanam - Dehradun

श्री कृष्ण जनमाष्टमी की हार्दिक शुभकामनायें
*** जय हो कृष्ण मुरारी ***

Monday, August 15, 2011

साईं वचन

"व्यक्ति की स्तिथि उसके  कर्मो के अनुसार बदलती रहती है"

 

Why Fear When I am Here ...

"गुरु कृपा दृष्टि की दवा अपनी आँखों में डालो,
माया का जाल खुद ही हट जायेगा"